रामलला देंगें भारत की Economy को संजीवनी? | राम मंदिर

हमारे देश भारत ने शायद ही किसी और देश के मुकाबले धार्मिकता के मामले में इतनी गहराई से अपनी पहचान बनाई हो। हिन्दू धर्म यहां के सबसे बड़े धर्म है

 रामलला देंगें भारत की Economy को संजीवनी? | राम मंदिर

रामलला देंगें भारत की Economy को संजीवनी?

प्रस्तावना:

हमारे देश भारत ने शायद ही किसी और देश के मुकाबले धार्मिकता के मामले में इतनी गहराई से अपनी पहचान बनाई हो। हिन्दू धर्म यहां के सबसे बड़े धर्म है और उसमें राम मंदिर एक महत्वपूर्ण स्थल है। इतना ही नहीं, रामलला के नाम पर सन 1992 में हुए विवाद के बावजूद अब फिर से उठा है। बिना विवादों के यह पूरी बात होने वाली थी या नहीं, इससे हमें इतनी त्वरिती से कोई दूसरा मुद्दा सोचने के बजाय अपनी ध्यान बस खुद के मासले पर है जो मुद्दा है।


1. राम मंदिर आर्थिक पक्ष

   अगर हम रामलला के मंदिर के लिए संसाधनों की तरफ देखें तो यह निश्चित है कि इससे भारत की आर्थिक स्थिति उदार होगी। वस्तुतः, इस परियोजना से न केवल निर्माण क्षेत्र में नौकरीयां मिलेंगी, बल्कि यातायात, मंचने, टूरिज्म और धार्मिक इन्फ्रास्ट्रक्चर में भी बढ़ोतरी होगी। यह सुनिश्चित है कि रामभक्तों का धार्मिक आशीर्वाद चाहे जो हो, गृहीत किया जाएगा और इससे राष्ट्रीय आय का भी वृद्धि होगी।


2. राम मंदिर सांस्कृतिक पहलू

   एक नया मंदिर बनाने का मतलब है नई एकता के आगमन का संकेत भी देना। राम मंदिर का निर्माण राष्ट्रीयता, सांस्कृतिक एकता और समानता के आदर्शों को बढ़ावा देगा। हिन्दू धर्म के लिए यह एक पवित्र स्थल होगा जहां लोग धार्मिक उत्सव मनाने आएंगे। इससे भारतीय संस्कृति और भाषा को भी बढ़ावा मिलेगा।


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3. राम मंदिर सामाजिक पहलू

   रामलला के मंदिर का निर्माण लोगों के बीच एक सामरिक उस्ताव की भूमिका भी निभाएगा। इससे वहां के प्रदर्शनकारी, चर्चा आदि कार्यक्रमों में भाग लेने और सेवा करने का मौका मिलेगा। इसके अलावा, अंततः यह हमारे देश की सांस्कृतिक एकता का प्रतीक भी होगा।


राम मंदिर सारांश

रामलला के मंदिर के निर्माण से भारत की Economy को कई तरह से लाभ प्राप्त होंगे। इससे न केवल धार्मिक और सांस्कृतिक विकास होगा, बल्कि यह सामाजिक एकता और राष्ट्रीय संघर्ष में भी एक महत्वपूर्ण पथ प्रदर्शित करेगा। हालांकि, इसमें कुछ विरोध भी हो सकते हैं, लेकिन इस प्रक्रिया के माध्यम से हम एक सद्भावपूर्ण समाधान ढूंढ़ने का प्रयास कर सकते हैं। यह अविश्वसनीय नहीं है कि राष्ट्रीय एकता सबसे महत्वपूर्ण होती है और हम सभी को इस बात को समझने का प्रयास करना चाहिए कि हम एक ही परिवार के अंग हैं।


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